Monday, April 29, 2013

कर्नाटक चुनाव का विवरण


तथ्‍यों पर एक नजर- कर्नाटक चुनाव-मतदान की तारीख-05 मई, 2013 



विषय

विधानसभा क्षेत्रों की संख्‍या जहां इस चरण में मतदान होगा-224


1


कुल मतदाता (राज्‍य कुल)
पुरूष       2,22,73,618
महिला2,13,41,263
कुल : 4,36,14,881
कुल : 4,36,14,881

2

उम्‍मीदवारों की कुल संख्‍या

2948

3

महिला उम्‍मीदवारों की कुल संख्‍या

170

4
अधिकतम उम्‍मीदवारों वाले विधानसभा क्षेत्र का नाम और उम्‍मीदवारों की संख्‍या

94-बेल्‍लारी शहर-29 उम्‍मीदवार


5

न्‍यूनतम उम्‍मीदवारों वाले विधानसभा क्षेत्रों का नाम और उम्‍मीदवारों की संख्‍या 
10-येंकानामराडी-5 उम्‍मीदवार
19-मुधोल-5 उम्‍मीदवार

6

एक से ज्‍यादा महिला उम्‍मीदवारों वाले विधानसभा क्षेत्र  

39 विधानसभा क्षेत्र

7

उम्‍मीदवारों की पार्टी के आधार पर सूची


बसपा-175, भाजपा-223, सीपीआई-08,सीपीआई(एम)-17, कांग्रेस-224,राकांपा-24, जद (सेक्‍युलर)- 222, क्षेत्रीय राजनीतिक दल- 832, आईएनडी-1223


8
चुनाव में इस्‍तेमाल होने वाली ईवीएम की संख्‍या (राज्‍य में)
बीयू- 79364, सीयू- 61338

09
सबसे बड़ा विधानसभा क्षेत्र (क्षेत्रफल के अनुसार(राज्‍य में)
76- हलियाल विधानसभा क्षेत्र

10
सबसे बड़ा विधानसभा क्षेत्र (मतदाताओं की संख्‍या के अनुसार(राज्‍य में)

176- बंगलौर दक्षिण- 447914 मतदाता


11
सबसे छोटा विधानसभा क्षेत्र (क्षेत्रफल के अनुसार(राज्‍य में)

5- कुडाची- 147749 मतदाता

12
विधानसभा क्षेत्रों की संख्‍या और नाम, जहां सीधी टक्‍कर है

शून्‍य

13

मतदान केंद्रों की कुल

52034
वि.कासोटिया/रीता/चन्‍द्रकला 

Friday, February 22, 2013

Voice against illegal-demolition and eviction


Fri, Feb 22, 2013 at 9:09 AM
A Protest Demonstration on 4th March 
Dear Friends !
Greetings !

We are sending you our appeal for your solidarity and support on behalf of National Movement For Land, Labor & Justice- NMLLJ and Forum against EWS Land Grab, Bangalore Karnataka.

Hope you are already aware of the illegal-demolition and  eviction of 1200 families from a slum  in Bangalore,  where they were living for more than 20 years .

This brutal action was enacted by the combined violence of police, pvt goons, and government officials.The whole purpose is to grab the 15.64 acres of prime land on which they were living.  it is between Jan 18--20. but even today the evicted people are living on footpath. this is the first where a `corporate land sharing project ` under PPP is being introduced in entire south India, in Urban poor Housing. If this move is not resisted , it only pave way to more and more land grab from slum people all over. What we are experiencing in the country is  the diminishing Democracy and flourishing Corporatocracy.

At this Juncture we request all democratic organization at Delhi to extend support and solidarity in resisting, exposing and get back the land grabbed from the social groups -historically marginalized.

.We seek your support and solidarity in organizing a protest Demonstration on 4th March at Jantar Mantar, New Delhi and a CSO consultation on 6th at Delhi. A strong struggle  group  from Forum against EWS Land Grab, Bangalore Karnataka.

We request you to play a prominent / leading role in actualizing  organized mass protest at Delhi on 4th march. Around 20 people from Bangalore forum that led the struggle so far, will be joining the protest.
Please see these attachments & Photos for more details.

M.R.Prabhakar
Convener,  Forum against EWS Land Grab, Bangalore
09449820566.

ARUN KHOTE
राष्ट्रीय भूमि, श्रम  एवं न्याय आन्दोलन
National Movement For Land, Labor & Justice-NMLLJ
222,Vidhayak Niwas, Aishbagh Road, Rajendra Nagar
Lucknow -226004 Utter Pradesh (INDIA)
Mob: 91#9451872099


At Jantar Mantar, New Delhi

Monday, October 8, 2012

Photo Exhibition by DAVP

Public Information Campaign on Bharat Nirman
People visiting the Photo Exhibition put up by DAVP, during the Public Information Campaign on Bharat Nirman, at Bagepalli (Taluk), Chikballapur, Karnataka on October 07, 2012. (PIB)   08-October-2012

Shri N. Sampangi

Inaugurating the Public Information campaign
The M.L.A, Bagepally, Shri N. Sampangi inaugurating the Public Information campaign on Bharat Nirman, at Bagepalli (Taluk), Chikballapur, Karnataka on October 07, 2012. (PIB) 08-October-2012

Friday, October 5, 2012

कर्नाटक में राष्‍ट्रीय राजमार्ग-63

05-अक्टूबर-2012 12:25 IST
हुबली-होसपेट खंड को चार लेन का बनाने की मंजूरी
आधारभूत संरचना की मंत्रिमंडलीय समिति ने डिजाइन, निर्माण, वित्‍त, परिचालन और हस्‍तांतरण (डीबीएफओटी/बीओटी) आधार पर एनएचडीपी चरण-4 के अंतर्गत कर्नाटक में राष्‍ट्रीय राजमार्ग-63 के हुबली-होसपेट खंड को चार लेन का बनाने की मंजूरी दे दी है। इस सड़क की कुल लंबाई 143.29 किलोमीटर होगी। भूमि अधिग्रहण, पुनर्वास और पूर्व-निर्माण गतिविधियों सहित परियोजना की कुल लागत 1442.48 करोड़ रूपये होगी। 30 महीने की निर्माण अवधि सहित इस सड़क की रियायती अवधि 27 वर्ष होगी। 

परियोजना का मुख्‍य उद्देश्‍य कर्नाटक में आधारभूत संरचना सुधार में तेजी लाने के साथ-साथ हुबली और होसपेट के बीच चलने वाले भारी यातायात के समय और यात्रा की लागत में कमी लाना भी है। यह खंड मुख्‍य औद्योगिक शहरों होसपेट और हुबली को आपस में जोड़ता है। बेल्‍लारी, कर्नाटक का प्रमुख खनन शहर है और यह खंड बेल्‍लारी से कारवाड़ बंदरगाह तक खनिजों की ढुलाई में मदद करेगा। परियोजना गतिविधियों के लिए इससे स्‍थानीय मजदूरों को अधिक रोजगार उपलब्‍ध होंगे तथा धारवाड़, गड़ाग और कोपाल जिले भी लाभांवित होंगे। (पत्र सूचना कार्यालय)


मीणा/इन्‍द्रपाल/गीता-4789

Monday, September 17, 2012

भारतीय विशिष्‍ट पहचान प्राधिकरण को मिली सफलता

आंखों की पु‍तली का सत्‍यापन अध्‍ययन सफल
भारतीय विशिष्‍ट पहचान प्राधिकरण ने कर्नाटक के मैसूर जिले में आंखों की पुतली के सत्‍यापन प्रमाण का अध्‍ययन सफलतापूर्वक संचालित किया है। अध्‍ययन से आंखों की पुतली के सत्‍यापन में उच्‍च स्‍तर की सटीकता (99 दशमलव 2 प्रतिशत) प्राप्‍त हुई है। आंखों की पुतली और उं‍गलियों के निशान की पहचान की सहायता से सार्वभौमिक समावेशन के लक्ष्‍य को पाया जा सकता है तथा आधार परियोजना के सत्‍यापन के अनुसार ही इसके सफलतापूर्वक इस्‍तेमाल पर आगे बढ़ा जा सकता है। भारतीय विशिष्‍ट पहचान प्राधिकरण की सफलता की तर्ज पर ही तथा किसी सेवा को आरंभ करने से पहले संकल्‍पना के सत्‍यापन के साबित हो चुके प्रचलन के अनुसार आंखों की पुतली के ऑन लाइन सत्‍यापन प्रणाली की विशेषता का अध्‍ययन किया गया। यह अध्‍ययन 27 मई, 2012 से 30 जुलाई, 2012 के बीच कर्नाटक के मैसूर जिले के नांजनगुड तालुक में किया गया जो उपनगरीय क्षेत्र है। इसके तहत वहां के 5,833 निवासियों के 2,15,342 पुतली सत्‍यापन व्‍यवहार का अध्‍ययन किया गया। इस अध्‍ययन में छह विभिन्‍न ओईएम के माध्‍यम से आईरिस कैमरे के आठ मॉडल इस्‍तेमाल किये गये। इस अध्‍ययन से भी बॉयोमिट्रिक इको सिस्‍टम में विशेष सुधार के क्षेत्र का पता लगा, जिससे कि इसकी स‍टीकता और बढ़ाई जा सके। इस विस्‍तृत अध्‍ययन रिपोर्ट को प्रलेखित किया गया, जिसे भारतीय विशिष्‍ट पहचान प्राधिकरण की वेब-साइट पर प्रकाशित किया जा रहा है, इसके बाद एक कार्यशाला आयोजित की जायेगी जिसमें कलन-विधि तथा युक्ति में सुधार के लिए विशेष कार्यप्रणाली के लिए निर्देशित किया जायेगा। भारतीय विशिष्‍ट पहचान प्राधिकरण इसके बाद आगे और विशेष अध्‍ययन करेगा। इन अध्‍ययनों से सत्‍यापन तथा इन्‍हें स्‍थापित किये जाने के उद्देश्‍य के लिए आईरिस उपकरण का निरूपण हो सकेगा। यह भी ध्‍यान देने वाली बात है कि बॉयोमिट्रिक इकोसिस्‍टम की प्रतिपुष्टि के परिणाम स्‍वरूप उंगलियों के निशान के सत्‍यापन संबंधी प्रदर्शन में उल्‍लेखनीय सुधार हुआ। अब आंखो की पुतली संबंधी सत्‍यापन में भी इसी तरह का परिणाम अपेक्षित है। यह इस बात को इंगित करता है कि आंखों की पुतली से सत्‍यापन की गुंजाईश 99 दशमलव 5 प्रतिशत से अधिक की सटीकता प्रदान करने की है।  (पत्र सूचना कार्यालय)    17-सितम्बर-2012 17:53 IST

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Iris authentication study in Mysore

UIDAI’s proof of concept study successful
The UIDAI has successfully conducted the proof of concept Iris authentication study in Mysore district of Karnataka. The study brought out the high accuracy levels (above 99.2%) achieved by iris authentication. A combination of iris and fingerprint authentication can further the goals of universal inclusion and pave the way for successful applications based on Aadhaar authentication. In line with UIDAI’s successful and proven practice of conducting Proof of Concept (PoC) studies before launching any service, a PoC has been conducted to characterize & identify optimal authentication setups for online iris authentication. The PoC was conducted in semi urban setting in Nanjangud taluk in Mysore district of Karnataka between May 27th and July 30th 2012. 215,342 iris authentication transactions from 5833 residents were studied in this PoC. Eight models of iris cameras through six different OEMs participated in this study. This study has also brought out the specific improvement areas that biometric ecosystem needs to work upon to further improve the accuracy and coverage percentage. The detailed findings are documented in a report which is being published on UIDAI’s website. This will be followed by a workshop with the device vendors to guide them on the specific actions to be taken by them to improve algorithms and devices. UIDAI will then take up further field studies. These studies would also lead to formulation of iris device specifications for certification and deployment purposes. It may also be noted that as a result of feedback to the biometric ecosystem, the performance of fingerprint authentication improved substantially from the time UIDAI conducted its first fingerprint authentication PoC to the last PoC. Same is expected in iris authentication domain too, which points that iris authentication has a scope of providing accuracy levels above 99.5%. (PIB)    17-September-2012 15:8 IST 
                                                                                        
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